लिंब : सातारा जिल्हा समस्त तिळवण तेली समाज संघटनेच्यावतीने पंचवीस हजार रुपयांचा धनादेश मुख्यमंत्री साहाय्यता निधीस देण्यात आला. कोरोनाच्या संकटात सापडलेल्या महाराष्ट्राला सावरण्यासाठी राज्यातील अनेक दानशूर व्यक्तींनी मुख्यमंत्री सहाय्यता निधीस मोठी मदत होत आहे.
वैश्विक महामारी एव आपदा कोरोना संक्रमण के कारण वर्तमान में सभी निजी एव सरकारी अस्पतालो/ ब्लड बैंको में रक्त का अभाव हो रहा है उसी को देखते हुए तैलिक साहू समाज पंच महासभा छ बैठक उदयपुर समाज के नोहरे नाडा खाडा में रक्तदान शिविर का आयोजन किया जिसमे युवाओ ने बढ़ चढ़ कर हिस्सा लिया और 35 यूनिट रक्तदान किया, ताकि थेलेसिमिया वाले मरीजो को व् अन्य मरीजो को समय समय पर ब्लड मिल सके और उनकी जान जान बचाई जा सके !
रायपुर शहर के मोस्ट हैपनिंग प्लेस में शुमार तेलीबांधा इतिहास 185 साल पुराना है। रोज हजारों रायपुरियंस से गुलजार रहने वाला तेलीबांधा तालाब यंगस्टर्स के बीच 'मरीन ड्राइव' के नाम से पहचाना जाता है। 1835 में मालगुजार दीनानाथ साव और उनके बेटे शोभाराम साव ने पानी की कमी दूर करने 29.43 एकड़ में खदाई कर तालाब का निर्माण कराया था। इतिहासविद् डॉ. रामकुमार बेहार ने बताया, साव परिवार द्वारा बनाए गए तालाब का नाम तेलीबांधा क्यों रखा गया, इससे जुड़ी सटीक जानकारी कहीं नहीं मिलती। हालांकि, लोगों का कहना है कि शहर के पास तेलीबांधा नाम का गांव था।
पाली - देश के कोने-कोने में रहे रहे घांची समाज के लोगों ने वॉट्सएप ग्रुप के माध्यम से मात्र 10 दिन में एकत्रित किए 5 लाख 25 हजार रुपए की सहयोग राशि का चेक गुरुवार को सभापति रेखाराकेश भाटी व समाजबंधुओं की मौजूदगी में प्रधानमंत्री राहत कोष के लिए कलेक्टर दिनेशचंद जैन को सुपुर्द किया।
घोडेगाव : कुलस्वामिनी तुळजाभवानी मातेच्या पलंग उत्सवाला घोडेगाव (ता. आंबेगाव) येथे सुरवात झाली. पलंगाच्या दर्शनासाठी नागरिक येऊ लागले आहेत.
हा पलंग येथे १० दिवस असतो. तुळजापूरच्या भवानी मातेच्या पलंगाची मिरवणूक तुळजापुरात झाल्यानंतर शिलंगणानंतर मातेची मूर्ती पलंगावर विराजमान केली जाते. विजयादशमी ते कोजागरी पौर्णिमा या काळात तुळजाभवानी माता या पलंगावर विश्रांती घेते.